Why don’t see back of lord Ganesha : विघ्नहर्ता श्रीगणेश के दर्शन मात्र से मनुष्य के सभी पाप नष्ट हो जाते हैं और कभी कम न होने वाला पुण्य प्राप्त होता है। भगवान्ग श्री गणेश सभी सुखों को देने वाले माने गए हैं। वे अपने भक्तों के दुखों को दूर करते हैं और शत्रुओं से रक्षा करते हैं। इनके नित्य दर्शन से हमारा मन शांत रहता है और सभी कार्य सफल होते हैं, लेकिन क्या आप जानते हैं कि कभी भी श्रीगणेश की पीठ के दर्शन नहीं करना चाहिए ?…
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गणेशजी की पीठ पर होता है दरिद्रता का वास
गणेशजी रिद्धि-सिद्धि के दाता हैं, लेकिन इनकी पीठ के दर्शन करना वर्जित माना गया है। मान्यता है कि गणेशजी के शरीर पर जीवन और ब्रह्मांड से जुड़े अंग निवास करते हैं। गणेशजी की सूंड पर धर्म विद्यमान है तो कानों पर ऋचाएं, दाएं हाथ में वर, बाएं हाथ में अन्न, पेट में समृद्धि, नाभी में ब्रह्मांड, आंखों में लक्ष्य, पैरों में सातों लोक और मस्तक में ब्रह्मलोक विद्यमान है। इसलिए गणेशजी के सामने से दर्शन करने पर उपरोक्त सभी सुख-शांति और समृद्धि प्राप्त हो जाती है। लेकिन श्रीगणेश की पीठ पर दरिद्रता का वास माना जाता है। और कोई भी मनुष्य अपने जीवन में दरिद्रता के दर्शन नहीं करना चाहेगा। अतः पीठ की ओर से कभी भी गणेशजी के दर्शन नहीं करना चाहिए।